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बुधवार, 1 जनवरी 2014

नव वर्ष हाइकु

नवल वर्ष 
खुशियाँ खूब छाए 
हो उजियारा।  

लालिमा लिए 
सूरज की किरणें 
मुस्कुराईं। 

सुबह हुई 
भौंरा गुनगुनाया 
पक्षी चहके। 

नव-सृजन 
धूप खिलखिलाई 
बजी बधाई। 

ख़ामोशी तोड़ो 
यूँ आवाज़ उठाओ 
परिवर्तन। 

मिटे अँधेरा 
यूँ फैले उजियारा 
नव वर्ष में। 

नूतन वर्ष 
जज्बे और जोश का 
अभिनन्दन। 

हो नव वर्ष 
पल्लवित -पुष्पित 
शुभकामना। 


(नव वर्ष पर शुभकामनाओं सहित हाइकु)

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